June 29, 2023
BY Brij Chandrarav0
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आषाढ की शुरुआत, बारिश की मौसम और भीगने की बातें...! बरसात में बरसाती आशाएं !!
प्रकृति का उत्सव वर्षाऋतु!
आज आषाढ की बात रखने का मन हो गया। वैसे तो ये आषाढ की ही चेष्ठा होगी। क्योंकि आषाढ तो खुलेपन का प्रकट उत्सव हैं। यहाँ बरसना हैं, मन भरके भिगोना भी हैं। सारी सृष्टि का नखशीख स्पर्श करने की प्रकृतिगत हरकत आषाढ की हर्षलीला हैं। आषाढ से सहज प्रकृति में चैतन्य प्रकट होता हैं। आषाढ उल्लास का माहोल ले कर आनेवाला मौसम हैं।चलें, कुछ बातें आषाढ की...